उप उपसंचालक पंचायत जूली तिर्की पर कार्रवाई के इंतजार के बीच…- भारत संपर्क
उप उपसंचालक पंचायत जूली तिर्की पर कार्रवाई के इंतजार के बीच अधीनस्थ कर्मी का फूटा लेटर बम, विभागीय जांच की फाईल में छेड़छाड़,रिकॉर्ड गायब,हेरफेर करने का संदेह, पूर्व गृहमंत्री ननकी की शिकायत दरकिनार, आखिर कब पूरी होगी जांच
कोरबा। पंचायत सचिवों के थोक में किए गए तबादले की शिकायत ठंडे बस्ते में डाल दी गई है। पूर्व गृहमंत्री ननकी राम कंवर की शिकायत पर डिप्टी कलेक्टर ने जिला पंचायत सीईओ को सात दिवस के भीतर जांच प्रतिवेदन प्रस्तुत करने कहा था। महीनों गुजर गए मगर अब तक मामले में कार्रवाई नहीं हुई। अब इस बीच एक अधीनस्थ कर्मचारी ने लेटर बम फोड़ दिया है। जिसमें उपसंचालक पंचायत में विभागीय जांच की फाईल में छेड़छाड़,रिकॉर्ड गायब,हेरफेर करने का संदेह जताया गया है। ऐसे में चर्चा इस बात है कि जिला पंचायत सीईओ संबित मिश्रा जान बूझकर उपसंचालक पंचायत सुश्री जूली तिर्की को बचाने के लिए विभागीय जांच को दबाकर रखे हुए हैं। कार्यालय उप संचालक पंचायत कोरबा भ्रष्टाचार का गढ़ बन गया है। यहां सहकर्मियों के बीच अंतर्कलह मची हुई है । सहायक ग्रेड वर्ग -02 के पद पर पदस्थ लिपिक रेवाशंकर नायक ने सहकर्मी सहायक ग्रेड वर्ग -03 उदयभान राय पर सचिवों के 48 विभागीय जांच नस्ती में जांच रिपोर्ट प्रस्तुत करने के बाद भ्रष्टाचार की नीयत से दस्तावेजों में हेरफेर कर ,गायब करने ,सुधार कर बदलने का गम्भीर आरोप लगाते हुए कलेक्टर से लिखित शिकायत की है। लिपिक श्री नायक ने कलेक्टर से उनकी समस्त नस्ती वापस दिलाने उप संचालक पंचायत को निर्देशित करने की गुहार लगाई है। कलेक्टर को लिखे पत्र में सहायक ग्रेड रेवाशंकर नायक ने उल्लेख किया है कि वो कार्यालय उप संचालक पंचायत में सचिव स्थापना /वेतन, शिकायत, विभागीय जांच आदि शाखा का कार्य देख रहे हैं। वर्तमान में नए कार्यविभाजन आदेश के तहत विभागीय जांच कार्य का उदयभान राय सहायक ग्रेड वर्ग -03 को प्रभार सौंपा गया है। उप संचालक पंचायत सुश्री जुली तिर्की के पास 48 विभागीय जांच नस्ती प्रस्तुत किया गया है ,जिसे मांगने पर नहीं दिया जा रहा है । नस्तियों का प्रभार संबंधित शाखा प्रभारी लिपिक उदयभान द्वारा मांगा जा रहा है ,जबकि वर्तमान में उपरोक्त 48 विभागीय जांच नस्ती की फाइल संबंधित लिपिक के पास ही है। लिपिक उदयभान राय महीनों से उक्त प्रकरणों पर कार्य कर रहा है । जांच रिपोर्ट प्रस्तुत करने के बाद फाइलों को महीनों तक हेरफेर के लिए जनपदों में जांचकर्ता अधिकारियों के पास भेजे जाने संबंधी जानकारी मिल रही है। जिससे रिकार्ड में हेराफेरी की गई है। कई दस्तावेज गायब किए गए हैं,और कई दस्तावेजों को सुधारकर बदल दिया गया है। इस प्रकार शासकीय रिकार्ड से छेड़खानी कर भ्रष्टाचार का खेल चल रहा है। श्री नायक ने शिकायत पत्र में आगे उल्लेख किया है कि जांच रिपोर्ट प्रस्तुत होने के बाद उनके द्वारा पुट अप करने के पश्चात नस्तियों को उदयभान राय सहायक ग्रेड वर्ग -03 को दे दिया गया है। विभागीय जांच संबंधित सचिव, अपचारी कर्मचारी को बार बार बुलाया जा रहा है। जबकि जांच रिपोर्ट तैयार होने के बाद उनको बुलाने का कोई औचित्य नहीं होता है।उक्त कृत्यों से व्यथित लिपिक नायक ने कलेक्टर से गुहार लगाई है कि उनकी समस्त नस्ती वापस किया जाए,इस हेतु डी.डी.पी मैडम को निर्देशित करने का कष्ट करेंगे,ताकि विभागीय जांच नस्तियों का विधिवत प्रभार सूची तैयार कर संबंधित लिपिक को सौंप सके। ज्ञात रहे कि ननकी राम कंवर ने गत 18 अगस्त 2023 को पंचायत सचिवों के थोक में किए गए तबादले के मामले की शिकायत की थी, जिसमें उल्लेख था कि जिला पंचायत कोरबा में तत्कालीन मुख्य कार्यपालन अधिकारी नूतन कुमार कंवर व उप संचालक पंचायत सुश्री जुली तिर्की के द्वारा शासन के नियम के विरूद्ध जाकर लगभग 140 पंचायत सचिवों का स्थानांतरण किया गया है। जबकि छ०ग० शासन के आदेशानुसार प्रभारी मंत्री के अनुमोदन पश्चात 5 से 10 प्रतिशत ही स्थानांतरण करने नियम है। किन्तु इन दोनों अधिकारियों के द्वारा नियम को ताक में रखकर 40 प्रतिशत तक स्थानांतरण किया गया है।जांच का शीघ्र निराकरण करने बजाय अपने निजी स्वार्थ के लिए 50 से अधिक पंचायत सचिवों के विभागीय जाँच को लटका कर रखा गया। जबकि दिनांक 07.08.2023 को वर्तमान मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत कोरबा ने पत्र जारी कर जिले में लगभग 50 से अधिक पंचायत के सचिवों के कई वर्षों से लंबित विभागीय जाँच के सबंध मे खेद प्रकट करते हुए 18.08.2023 तक जनपद के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को निराकृत करने का आदेश दिया है। विभागीय जाँच जैसे गंभीर मामले का निपटारा करने के बजाय समझौता लिए लंबित रखा जाना स्पष्ट प्रतीत होता है। ननकी ने तत्कालीन मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत व उपसंचालक पंचायत कोरबा के विरूद्ध कार्यवाही की मांग की थी। इस मामले में भी अधिकारियों पर किसी प्रकार की कोई कार्रवाई देखने को नहीं मिली है। अब विभागीय कर्मचारी की चिट्ठी से भी स्पष्ट है कि विभागीय जांच की फाईल में छेड़छाड़,रिकॉर्ड गायब,हेरफेर करने का काम हो रहा है। इसमें जिला पंचायत सीईओ संबित मिश्रा के द्वारा उपसंचालक पंचायत सुश्री जूली तिर्की को बचाने की मंशा भी प्रशासनिक महकमे में चर्चा का विषय बना हुआ है। जिला पंचायत सीईओ को इस मामले में उनके पक्ष लेने के लिए मोबाइल से संपर्क किया गया लेकिन उन्होंने मोबाइल रिसीव नहीं किया।