एक लोटा जल, सब समस्याओं का हल- आचार्य दिनेश चंद्र जी महाराज…- भारत संपर्क



बिलासपुर :सरकंडा स्थित श्री पीतांबरा पीठ त्रिदेव मंदिर में सावन महोत्सव धूमधाम के साथ श्रद्धापूर्वक मनाया जा रहा है। इस अवसर पर श्री शारदेश्वर पारदेश्वर महादेव का महारुद्राभिषेकात्मक महायज्ञ चल रहा है, जिसमें विद्वानों द्वारा प्रतिदिन नमक चमक विधि द्वारा पाठ एवं अभिषेक किया जा रहा है।
पीतांबरा पीठाधीश्वर अचार्य डॉ. दिनेश जी महाराज ने बताया कि, भारत में शिव भक्ति का नारा एक लोटा जल, सारी समस्या का हल सावन सावन के महीने में विशेष रूप से गूंजता है शिव पुराण के अनुसार, शिवलिंग पर जल चढ़ाने से भोलेनाथ प्रसन्न होते हैं और भक्तों के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। सावन (11जुलाई 2025 से 9 अगस्त 2025) में शिवलिंग पर जलाभिषेक का विशेष महत्व है, लेकिन कई लोग अनजाने में गलतियां कर बैठते हैं, जिससे पूजा का फल नहीं मिलता। आइए जानते हैं शिवलिंग पर जल चढ़ाने की सही विधि, नियम और मंत्र :

शिवलिंग पर जल चढ़ाने की सही विधि
- बैठकर जल चढ़ाएँ
हमेशा शांत मन से बैठकर धीरे-धीरे शिवलिंग पर जल अर्पित करें खड़े होकर या तेज धारा में जाल चढ़ाना अशुभ माना जाता है, इससे पूजा का पुण्य प्रास नहीं होता। - सही दिशा का ध्यान रखे
जल चढ़ाते समय भक्त का मुख उत्तर दिशा की ओर होना चाहिए। पश्चिम या दक्षिण दिशा की ओर मुख करके जल न चढ़ाएं। - उपयुक्त पात्र का उपयोग
तांबा (कांसे या चांदी) के पात्र से जलाभिषेक करना शुभ माना है।
स्टील के बर्तन से अभिषेक न करें।
तांबे के पात्र से दूध का अभिषेक करना भी अशुभ है।
जल चढ़ाने का क्रम
शिवलिंग पर जल चढ़ाते समय निम्नलिखित क्रम का पालन करें:-
- जलहरी का दायां भागः भगवान गणेश का स्थान, जहाँ पहले जल चढ़ाएं।
- जलहरी का बायां भागः भगवान कार्तिकेय का स्थान, इसके बाद जल अर्पित करें।
- जलहरी का मध्य भागः अशोक सुंदरी का स्थान, यहां जल चढ़ाएं।
- जलहरी का गोलाकार हिस्साः माता पार्वती का स्थान, इसके बाद जल अर्पित करें।
- अंत में शिवलिंगः सबसे आखिर में धीरे -धीरे जल चढ़ाएं।
शिवलिंग पर जल चढ़ाने का मंत्र
जल चढ़ाते समय निम्न मंत्रों का जाप करें
1-ॐ नमः शिवाय
2-ॐ त्र्त्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम उर्वारुकमिव बन्धनान्मृत्योर्मुक्षीय माऽमृतात् ।।
सावन में सावधानियां
1-सावन में शिवलिंग पर जल चढ़ाते समय स्वच्छता का विशेष ध्यान रखें।
2-पूजा के दौरान शांत और पवित्र मन से भक्ति करें।
3-गलत पात्र या गलत विधि से पूजा करने से बचें ताकि पूजा का पूर्ण फल प्राप्त हो।
4 – भारतीय परिवेश धोती, कुर्ता,साड़ी में ही भगवान का पूजन करें
कष्टों से मुक्ति पाएं:
सावन में शिवलिंग पर जलाभिषेक भोलेनाथ की कृपा पाने का सबसे सरल और प्रभावी तरीका है। सही विधि और नियमों का पालन करके भक्त अपनी पूजा को सार्थक बना सकते हैं। एक लोटा जल के साथ सच्ची भक्ति से शिव जी को प्रसन्न करें और उनके आशीर्वाद से सभी कष्टों से मुक्ति पाएं।
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