20 लाख तक के हाईएस्ट पैकेज पर मिलने जा रहीं 10 लाख नौकरियां,…- भारत संपर्क
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मोदी सरकार का फोकस अधिक से अधिक रोजगार पैदा करने पर है. इसका फायदा जमीन पर देखने को भी मिल रहा है. अब खबर ये आ रही है कि सरकार ने एक ऐसा प्लान तैयार किया है, जिसकी मदद से 10 लाख नौकरियां पैदा होंगी. सरकार के इस प्लान के सफल होने के बाद लोगों को 20 लाख रुपए तक के हाईएस्ट पैकेज पर कंपनियां हायर करेंगी. मोदी सरकार का यह प्लान सेमीकंडक्टर इंडस्ट्री में जारी ग्रोथ से साकार होगा. आइए समझते हैं कि सरकार ने इसके लिए क्या ब्लू प्रिंट तैयार किया है.
मिलेंगी 10 लाख नौकरियां
एक रिपोर्ट के मुताबिक, सरकार ने हाल ही में टाटा ग्रुप सहित इस सेक्टर से जुड़ी अलग-अलग कंपनियों को 15 अरब डॉलर के निवेश की मंजूरी दी है. स्टाफिंग कंपनी रैंडस्टैड ने कहा है कि 2024 में कुल 40-50 हजार कर्मचारियों की जरूरत पड़ेगी, जो पिछले साल की तुलना में 25-30% अधिक है. अगले पांच वर्षों में यह सेक्टर अकेले 8 से 10 लाख नौकरियां पैदा करेगा.
20 लाख तक के हाईएस्ट पैकेज
भारत सरकार देश के सेमीकंडक्टर मिशन को ग्लोबल सेमीकंडक्टर सेक्टर के साथ जोड़ने पर काम कर रही है. हालांकि इसमें कई चुनौतियां भी सामने आ रही है. एक समस्या स्किल्ड कैंडिडेड का ना मिलना भी है. यही वजह है कि कंपनियां कैंपस भर्तियों पर विचार कर रही हैं, और टॉप लेवल पोजिशन के लिए आईटी सेक्टर से लोगों को हायर कर रही हैं. इस सेक्टर में एंट्री लेवल के डिजाइन इंजीनियरों के लिए सालाना 15-20 लाख रुपए का पैकेज मिल रहा है, जो टॉप लेवल के लिए 2.5 करोड़ रुपए से भी अधिक है, जिसमें ज्वाइनिंग बोनस भी शामिल है.
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टैलेंट पूल तैयार करने पर हो रहा काम
देश में सेमीकंडक्टर प्लांट शुरू होने पर शुरुआत में इसे संभालने वाले लोग विदेशों से लाए जाएंगे. इसके बाद कंपनियां लोकल लोगों को स्किल सिखाना शुरू करेंगी और उन्हें नौकरी देंगी. तभी 2027 तक अनुमानित 10 से 13 हजार लोगों की जरूरत वाला टैलेंट पूल तैयार हो सकेगा.
भले देश में 10 से 13 हजार चिप प्लांट चलाने वाले लोगों की जरूरत होगी, लेकिन भारत सरकार ने एक चिप-टू-स्टार्टअप प्रोग्राम शुरू किया है. इसके तहत सरकार का लक्ष्य 2027 तक 85,000 से ज्यादा स्किल्ड लोगों का टैलेंट पूल बनाने का है.