रणजी ट्रॉफी में 7 साल बाद हुआ ऐसा, तमिलनाडु को सेमीफाइनल में पहुंचाने के लि… – भारत संपर्क

रणजी ट्रॉफी के सेमीफाइनल में पहुंची तमिलनाडु (Photo: Instagram)
रणजी ट्रॉफी 2024 के सेमीफाइनल की लाइन-अप तय होने में भले ही अभी वक्त हो. लेकिन, टूर्नामेंट का पहला सेमीफाइनलिस्ट मिल गया है. तमिलनाडु ने रणजी ट्रॉफी के क्वार्टर फाइनल मुकाबले में सौराष्ट्र को हराकर सेमीफाइनल में अपनी बर्थ कन्फर्म करा ली है. उसने क्वार्टर फाइनल में सौराष्ट्र पर बड़ी जीत दर्ज करते हुए पारी और 33 रन से हराया. तमिलनाडु के लिए सेमीफाइनल का ये टिकट खास है क्योंकि इस पाने का इंतजार उसे बीते 7 सालों से था.
तमिलनाडु इस सीजन में रणजी ट्रॉफी के सेमीफाइनल में पहुंचने वाली पहली टीम बनीं क्योंकि इसके पीछे उसके कप्तान ने पूरा जोर लगा दिया. तमिलनाडु 27 साल के साई किशोर की कप्तानी में 7 साल का इंतजार खत्म कर सेमीफाइनल में पहुंची है. अब टीम की इस उपलब्धि में उसके कप्तान का जोर कैसे लगा वो बताएं, उससे पहले जरा सौराष्ट्र के साथ इसके क्वार्टर फाइनल मुकाबले का हाल जान लीजिए.
रणजी ट्रॉफी के सेमीफाइनल में तमिलनाडु, चमका कप्तान
क्वार्टर फाइनल में पहले बल्लेबाजी करते हुए सौराष्ट्र की टीम पहली पारी में बस 183 रन ही बना सकी. पहली पारी में गेंद से तमिलनाडु के कप्तान साई किशोर ने 5 विकेट लिए. इसके बाद तमिलनाडु ने अपनी पहली पारी में 338 रन बनाए, जिसमें कप्तान साई किशोर के बल्ले से निकले 60 रनों की अहम भूमिका रही.
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सौराष्ट्र की बैटिंग दूसरी पारी में और भी खराब रही. इस बार वो केवल 122 रन ही बना सके. मतलब तमिलनाडु की बढ़त से 33 रन दूर रह गए. इस तरह वो पारी और 33 रन से मैच गंवा बैठे. दूसरी पारी में साई किशोर ने गेंद से 4 विकेट लिए. मतलब मैच में कुल 9 विकेट लेने के अलावा साई किशोर ने 60 रन बनाकर ऑलराउंड प्रदर्शन किया. बतौर कप्तान उनके इस ऑलराउंड खेल के लिए तमिलनाडु की जीत का हीरो भी चुना गया.
कप्तान का जोर ऐसे ही दिखा तो तमिलनाडु जीत सकता है खिताब
साफ है कि तमिलनाडु के कप्तान होने के नाते साई किशोर गजब का परफॉर्मेन्स कर रहे हैं. वो रणजी ट्रॉफी के इस सीजन में 18.78 की औसत से अब तक सबसे ज्यादा 47 विकेट लेने वाले गेंदबाज भी हैं. कप्तान का ऐसा ही जोर अगर टूर्नामेंट में आगे भी चलता दिखा तो तमिलनाडु के रणजी ट्रॉफी जीतने का ख्वाब भी पूरा हो सकता है.