भारत की इस फूलों की घाटी में हर 15 दिन में फूल बदल लेते हैं अपना रंग |…

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भारत की इस फूलों की घाटी में हर 15 दिन में फूल बदल लेते हैं अपना रंग |…
भारत की इस फूलों की घाटी में हर 15 दिन में फूल बदल लेते हैं अपना रंग

उत्तराखंड में मौजूद है ये फूलों की घाटीImage Credit source: gettyimages

उत्तराखंड अपनी प्राकृतिक खूबसूरती के लिए मशहूर है. गर्मी के दिनों में कई लोग यहां छुट्टियां मनाने आते हैं. पर्यटन के लिहाज से उत्तराखंड बहुत मशहूर है. यहां पूरे साल पर्यटकों का आना जाना लगा रहता है. यहां की नेचुरल ब्यूटी में चार चांद लगाते हैं यहां पर मौजूद फूलों के बगान. प्रकृति के पास जाकर हर किसी का मन खुशनुमा हो जाता है. यही वजह है कि हजारों की संख्या में नेचर लवर्स देव भूमि पहुंचते हैं. अगर आप फूलों के शौकीन हैं तो जुन जुलाई के महीने में आपको उत्तराखंड जरूर आना चाहिए. उत्तराखंड खूबसूरत वादियों के अलावा फूलों की घाटी के लिए भी जानी जाती है. यह घाटी पहाड़ों की गोद में बसी है, इसकी खूबसूरती पहली नजर में आपका मन मोह लेने के लिए काफी है. यहां आपको दूर दूर तक सिर्फ रंग बिरंगे फूल ही देखने को मिलेंगे.

उत्तराखंड के चमोली में मौजूद है फूलों की घाटी जिसे वैली ऑफ फ्लावर्स भी कहा जाता है. यह घाटी पूरे साल में सिर्फ 3-4 महीने के लिए ही खुलती है. इस मौसम में यहां आपको दूर दूर तक सिर्फ फूल ही देखने को मिलेंगे. जून से लेकर अक्टूबर तक यहां नेचर लवर्स की भीड़ लगी रहती है. फूलों की ये घाटी विश्व धरोहर लिस्ट में भी अपनी जगह बना चुकी है.

कितने किस्म के हैं यहां फूल?

उत्तराखंड की ये फूलों की घाटी 87.5 वर्ग किलोमीटर में फैली हुई है. हर साल यहां दुनियाभर से पर्यटक घूमने आते हैं. यहां पर आपको कम से कम 500 से ज्यादा फूलों की प्रजातियां देखने को मिल जाएगी. जिसमें कई विदेशी फूल भी शामिल है. इस घाटी की खोज वनस्पति शास्त्री फ्रेक सिडनी स्माइथ ने की थी. जब वह पर्वतारोहण पर निकले थे तब वो गलती से इस घाटी के पास पहुंच गए थे. इस जन्नत जैसी जगह को देखकर पहली नजर में ही वो मंत्रमुग्ध हो गए थे.

कैसे पहुंचे आप फूलों की घाटी?

पर्यटकों के लिए फूलों की घाटी 1 जून से लेकर 31अक्टूबर तक खुली रहती है. चमोली की इस खूबसूरत घाटी तक पहुंचने के लिए आपको बद्रीनाथ हाइवे से गोविंदघाट को लिए जाना होगा. यहां से आपको करीब 11 किलोमीटर की ट्रेकिंग करनी होगी. इसके बाद हेमकुंड यात्रा के बेस कैंप से होते हुए घाघरिया तक जाना होगा. इस बेस कैंप से तीन क्लोमीटर की दूरी पर स्थित है खूबसूरत फूलों की वैली. यहां जाने के लिए आपको पहले रजिस्ट्रेशन करवाना होगा. भारतीयों के लिए इसकी फीस 150 रूपए है तो वहीं विदेशियों को यहां आने के लिए 600 रूपए देने होंगे.

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