Ujjain: 65 बच्चों का स्कूल, एक कमरे में आधे छात्र, नाले के किनारे लग रही दू… – भारत संपर्क

0
Ujjain: 65 बच्चों का स्कूल, एक कमरे में आधे छात्र, नाले के किनारे लग रही दू… – भारत संपर्क

उज्जैन का अनोखा प्राइमरी स्कूल
मध्य प्रदेश के उज्जैन को एक स्मार्ट शहर के नाम से जाना जाता है. लेकिन अब तक यहां के प्रायमरी स्कूल स्मार्ट नहीं हुए हैं. यहां का एक प्राइमरी स्कूल ऐसा है जहां के बत्तर हालातों को लेकर कई बार वरिष्ठ अधिकारियों को शिकायत की गई लेकिन स्कूल के प्रिंसिपल और शिक्षकों को समस्या हल करने का आश्वासन ही दिया गया. हालात कुछ ऐसे हो चुके हैं कि पिछले 10 सालों से यहां समस्या लगातार बनी हुई है और इसका हल करने वाला कोई नहीं है.
उज्जैन के नानाखेड़ा क्षेत्र स्थित जवाहर नगर में संचालित होने वाले कुशाभाऊ ठाकरे प्राइमरी स्कूल में पहली से पांचवी तक क्लास लगती है. इस स्कूल में लगभग 65 विद्यार्थी भी पढ़ते हैं, लेकिन स्कूल भवन की बात करें तो ढंग की क्लास के बजाए 10 बाय 10 का कमरा बना हुआ है जो की स्कूल का सामान रखने के काम आता है. इसके अलावा इसी कमरे में पहली और दूसरी क्लास लगती है.
नाले के किनारे लगती है क्लास
वैसे तो आजकल के स्कूलों में कई अत्याधुनिक सुविधाएं हैं लेकिन इस स्कूल में बच्चों के लिए मूलभूत सुविधाओं का भी अभाव है. जानकारी के मुताबिक, स्कूल के 10 बाय 10 के कमरे में कक्षा पहली और दूसरी के बच्चों की पढ़ाई होती है जबकि बाकी कक्षा तीसरी से पांचवी तक के बच्चे स्कूल के बाहर के क्षेत्र में नाले के किनारे लगे एक पेड़ के नीचे बैठकर पढ़ते हैं.
बारिश में होती है दिक्कत
ठंड के दिनों में तो फिर भी स्कूल इन खुले स्थानों में लग जाते हैं लेकिन सबसे ज्यादा परेशानी बारिश और गर्मी के मौसम में होती है. हालात ये हैं कि जिस दिन बारिश होती है तो क्लास की छुट्टी करनी पड़ती है जिससे बच्चों की पढ़ाई पर भी बहुत बुरा असर पड़ता है. बारिश के दिनों में केवल बड़े बच्चों को ही पढ़ाया जाता है. यह स्कूल मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के विधानसभा क्षेत्र के पास ही लगता है. मुख्यमंत्री का विधानसभा क्षेत्र होने पर भी विभागी अधिकारी अपनी जिम्मेदारियों से पल्ला झाड़ रहे हैं.
टीचरों को भी होती है परेशानी
इस तरह पेड़ के नीचे संचालित हो रहे इस प्राइमरी स्कूल को लेकर जब स्कूल की टीचर निहारिका कोठारी से बात की गई तो उनका कहना था कि जिम्मेदारों को इस बात की शिकायत करते-करते हम परेशान हो चुके हैं. स्कूल में पढ़ाई के लिए कमरा न होने के साथ ही यहां शौचालय तक की व्यवस्था नहीं है. हम शिक्षकों और छात्राओं को शौचालय न होने के कारण काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है.
मिलते हैं सिर्फ आश्वासन
टीचर ने बताया कि पिछले 10 सालों से स्कूल की हालत ऐसी ही है. नए भवन का काम शुरू हो चुका था, लेकिन इस पर पुलिस विभाग ने आपत्ति लगा दी. स्कूल शिक्षा विभाग ने जमीन की पड़ताल के बगैर काम शुरू कर दिया था इसलिए काम रोकना पड़ गया. इसके बाद किसी ने इसकी आगे सुध नहीं ली. हालांकि अधिकारियों ने आश्वासन दिया है कि जल्द ही नए भवन का निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाएगा, लेकिन यह भवन कब बनेगा और कब बनकर तैयार होगा यह किसी को पता नहीं है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Bobby Darling Struggle Story: तुम्हें पैसे भी दें और रोल भी? लड़का से लड़की बनीं… – भारत संपर्क| 53 गांव-24 वार्ड डूबे, 80 नावें सड़कों पर चल रहीं, 12000 लोग बेघर… वाराणस… – भारत संपर्क| 45000 क्षमता, VIP गैलरी, फिटनेस सेंटर… बिहार के राजगीर इंटरनेशनल क्रिकेट…| Flipkart या Amazon, कहां मिल रहा सबसे सस्ता iPhone 16? – भारत संपर्क| जनऔषधियों की कीमतों में कटौती पर मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव…- भारत संपर्क