Starlink को मिला सरकार से लाइसेंस, हर महीने खर्च करने होंगे इतने पैसे! – भारत संपर्क


Starlink India LaunchImage Credit source: सांकेतिक तस्वीर
Starlink का भारत में रास्ता साफ होता दिख रहा है, कंपनी बस अपने लक्ष्य से एक कदम दूर है. पिछले महीने स्टारलिंक को लेटर ऑफ इंटेंट मिला था और अब अब स्टारलिंक को सराकर की ओर GMPCS लाइसेंस मिल गया है. लाइसेंस के बाद अब स्टारलिंक के सामने बस एक चुनौती और है, कंपनी को IN-SPACe से अंतिम अप्रूवल की जरूरत है. अप्रूवल मिलने के बाद भारत में आप लोग सैटेलाइट बेस्ड इंटरनेट सर्विस स्टारलिंक का इस्तेमाल कर पाएंगे लेकिन इस लास्ट प्रोसेस को पूरा होने में कितना समय लगेगा. फिलहाल इस बात की जानकारी सामने नहीं आई है.
OneWeb और Reliance को पहले ही लाइसेंस मिल चुका है, यानी स्टारलिंक अब तीसरी ऐसी कंपनी बन गई है जो जल्द भारत में अपनी सर्विस को शुरू कर सकती है. स्टारलिंक कंपनी की सर्विस फिलहाल 100 से ज्यादा देशों में एक्टिव है, इस कंपनी का मकसद लो लेटेंसी ब्रॉडबैंड के जरिए तेज इंटरनेट सर्विस प्रदान करना है.
भारत में अब भी बहुत से ऐसे दूर-दराज क्षेत्र हैं जहां इंफ्रास्ट्रक्चर की कमी की वजह से लोगों की इंटरनेट तक पहुंच नहीं है लेकिन स्टारलिंक और बाकी कंपनियों के आने के बाद ऐसे इलाकों में भी लोग इंटरनेट एक्सेस कर पाएंगे. इन तीनों ही कंपनियों के अलावाAmazon भी इंडिया में Kuiper प्रोजेक्ट के जरिए सैटेलाइट इंटरनेट देने के लिए लाइसेंस और अप्रूवल में जुटी हुई है.
Starlink Plans की कितनी होगी कीमत?
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, भारत में स्टारलिंक प्रमोशनल ऑफर के तहत 10 डॉलर (लगभग 840 रुपए) की शुरुआती कीमत में अनलिमिटेड डेटा वाले प्लान्स उपलब्ध कराएगी. स्टारलिंक की ग्राहकों को लुभाने की ये रणनीति कामयाब होगी या नहीं, ये कहना थोड़ी जल्दबाजी होगी क्योंकि भले ही प्लान्स सस्ते हो सकते हैं लेकिन हजारों रुपए की कीमत वाली डिवाइस ग्राहकों का मूड बिगाड़ सकती है.
भारत में कंपनियों के बीच प्राइस वॉर जैसी स्थिति देखने को मिलती है जिसका फायदा ग्राहकों को मिलता है. ऐसे में उम्मीद है कि कंपनियों के बीच प्रतिस्पर्धा का फायदा लोगों को मिलेगा.