कतर के बाद अब इस अरब देश में होगा FIFA वर्ल्ड कप, 10 साल बाद लगेगा फुटबॉल क… – भारत संपर्क
2034 का वर्ल्ड कप सऊदी अरब में होना तय है.Image Credit source: PTI
दुनिया के सबसे बड़े और सबसे लोकप्रिय खेल टूर्नामेंट फुटबॉल वर्ल्ड कप का इंतजार हर किसी को रहता है. दो साल पहले ही कतर में टूर्नामेंट का आयोजन हुआ था. अब 2026 में अमेरिका, कनाडा और मेक्सिको में फुटबॉल के महाकुंभ का आयोजन होगा. मगर फिलहाल बात सऊदी अरब की, जो फुटबॉल की दुनिया में अपनी पहचान बना रहा है. कतर के बाद अरब जगत में एक बार FIFA वर्ल्ड कप की वापसी होने जा रही है और इस बार मेजबानी का हक मिल रहा है सऊदी अरब को. 2030 वर्ल्ड कप की मेजबानी से चूकने वाले सऊदी को 2034 का वर्ल्ड कप मिलने जा रहा है.
अकेला दावेदार सऊदी अरब
फुटबॉल की सबसे बड़ी संस्था फीफा (FIFA) बुधवार 11 दिसंबर को वर्ल्ड कप 2034 के मेजबान का ऐलान करेगी. हालांकि, ये ऐलान अब सिर्फ एक औपचारिकता भर रह गई है क्योंकि टूर्नामेंट के मेजबानी के लिए बोली लगाने वाला सऊदी अरब अकेला देश था. रिपोर्ट्स के मुताबिक, सऊदी अरब के अलावा पहले इस रेस में ऑस्ट्रेलिया भी शामिल था लेकिन फिर ऑस्ट्रेलिया ने आखिरी वक्त पर अपना नाम वापस ले लिया, जिसके बाद सऊदी अकेला दावेदार बचा. ऐसे में अब सिर्फ आधिकारिक ऐलान होना ही बाकी है.
कतर की सफलता से मिला उकसावा
दुनिया के सबसे मशहूर टूर्नामेंट की मेजबानी के लिए सऊदी अरब ने काफी निवेश किया था और काफी मशक्कत भी की. सऊदी अरब के शाही घराना अपने देश में वर्ल्ड कप को आयोजित कराने के लिए बेकरार था और इसकी वजह था कतर. असल में सऊदी के ही पड़ोस में स्थित कतर ने 2022 में वर्ल्ड कप की मेजबानी की थी. ये अरब जगत का पहला देश था, जहां फीफा वर्ल्ड कप आयोजित हुआ था. तमाम विवादों के बीच वर्ल्ड कप को जबरदस्त सफलता भी मिली थी और इसने ही सऊदी अरब को टूर्नामेंट के लिए दावेदारी ठोकने को लेकर बहुत उकसाया.
रोनाल्डो से लेकर क्लब खरीदने तक, कई बिलियन डॉलर खर्च
मेजबानी हासिल करने के लिए सऊदी ने पिछले 2-3 साल में फुटबॉल पर जमकर पैसा भी बहाया है. इसमें क्रिस्टियानो रोनाल्डो जैसे महान खिलाड़ी को 200 मिलियन डॉलर का सालाना कॉन्ट्रेक्ट देकर सऊदी अरब की लीग में शामिल करना एक बड़ा निवेश था. रोनाल्डो को मिलने वाली इतनी बड़ी रकम में सिर्फ उनकी सैलरी ही नहीं थी, बल्कि वर्ल्ड कप के लिए सऊदी की दावेदारी का प्रचार-प्रसार करने की शर्त भी शामिल थी और रोनाल्डो ने पिछले 2 साल में ये किया है. उनकी देखा-देखी नेमार जूनियर, करीम बेंजेमा, सादियो माने समेत और भी कई बड़े सऊदी लीग का हिस्सा बने.
रोनाल्डो समेत कई खिलाड़ियों के सऊदी के सरकारी खजाने, पब्लिक इन्वेस्टमेंट फंड (PIF) से ही ये पैसा मिला है. अरबों डॉलर वाले इस फंड से ही इंग्लैंड के बड़े फुटबॉल क्लब न्यूकासल यूनाइटेड को करीब 3 बिलियन डॉलर में खरीदकर सऊदी अरब ने अपने इरादों और फुटबॉल वर्ल्ड कप की महत्वाकांक्षा को जगजाहिर किया था. सऊदी अरब हालांकि 2030 वर्ल्ड कप की मेजबानी चाहता था लेकिन ऐसा नहीं हो सका. अब 2034 में उसका ये ख्वाब पूरा होने वाला है.