10वीं के बाद ही तय करें करियर की दिशा, होते हैं ये 4 ग्रुप्स, जिसे चुनेंगे उसी…

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10वीं के बाद ही तय करें करियर की दिशा, होते हैं ये 4 ग्रुप्स, जिसे चुनेंगे उसी…
10वीं के बाद ही तय करें करियर की दिशा, होते हैं ये 4 ग्रुप्स, जिसे चुनेंगे उसी से शुरू होगा भविष्य

10वीं के बाद करियर ऑप्शनImage Credit source: Getty Images

10वीं पास करना किसी भी छात्र के जीवन का सबसे पहला और अहम मोड़ होता है, जहां से वो अपने करियर की दिशा तय करना शुरू करते हैं. यह फैसला आगे की पढ़ाई, छात्रों की रुचि और उनके करियर से जुड़ा होता है. इसलिए उन्हें समय रहते ये तय करना होता है कि वो किस फील्ड में अपना करियर बनाना चाहते हैं. 10वीं के बाद आगे की पढ़ाई के लिए चार ग्रुप्स होते हैं, जो इंटरेस्ट के हिसाब से बंटे होते हैं. आइए जानते हैं कि वो कौन-कौन से ग्रुप हैं औॅर 10वीं के बाद छात्रों के पास कौन-कौन से विकल्प होते हैं?

भारतीय एजुकेशन सिस्टम में साइंस दो ग्रुप में बंटा है. पहले ग्रुप में फिजिक्स, केमिस्ट्री और मैथ्स होता है, जबकि दूसरे ग्रुप में फिजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी होता है. इसके बाद तीसरा ग्रुप है कॉमर्स, जिसमें अकाउंट्स, सांख्यिकी, इकोनॉमिक्स और बिजनेस स्टडीज की पढ़ाई होती है, जबकि चौथे ग्रुप में आर्ट्स आता है, जिसमें इतिहास, भूगोल, साइकोलॉजी और पॉलिटिकल साइंस आदि की पढ़ाई होती है.

पहले ग्रुप में कौन-कौन सी डिग्रियां?

साइंस के पहले ग्रुप (फिजिक्स, केमिस्ट्री और मैथ्स) में इंजीनियरिंग की पढ़ाई शामिल है. इसमें बीटेक, बीई, बीआर्क जैसी डिग्रियां शामिल हैं. इंजीनियरिंग के कई ब्रांच हैं, जो छात्र अपनी रुचि के हिसाब से चुन सकते हैं. इन ब्रांचेस में कंप्यूटर साइंस, इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग, मैकेनिकल इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग, ऑटोमोबाइल इंजीनियरिंग, सिविल इंजीनियरिंग, केमिकल इंजीनियरिंग, मैथेमेटिक्स एंड कंप्यूटिंग आदि शामिल हैं.

दूसरे ग्रुप में किस चीज की होती है पढ़ाई?

साइंस के दूसरे ग्रुप (फिजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी) में मेडिकल से जुड़े कोर्सेज की पढ़ाई होती है, जिसमें एमबीबीएस (MBBS), बीडीएस (BDS), बीएएमएस (BAMS), बीएसएमएस (BSMS), बीएनवाईएस (BNYS), बीएचएमएस (BHMS), बीयूएमएस (BUMS), बीएससी नर्सिंग, बी. फार्मा और बैचलर ऑफ फिजियोथेरेपी आदि शामिल हैं.

तीसरे ग्रुप में कौन-कौन से कोर्स?

तीसरा ग्रुप कॉमर्स का है, जिसमें बीकॉम, बीकॉम (ऑनर्स), बीएससी (फाइनेंस), बीबीए (फाइनेंस), बीएफए (फाइनेंशियल अकाउंटिंग) और बीकॉम (प्रोफेशनल) जैसे कोर्स शामिल हैं. कॉमर्स की पढ़ाई करने वाले सीए, सीएस, सर्टिफाइड फाइनेंस एनालिस्ट (CFA), सर्टिफाइड फाइनेंशियल प्लानर (CFP) और सर्टिफाइड इन्वेस्टमेंट बैंकर (CIB) आदि बनते हैं.

चौथे ग्रुप में क्या-क्या होता है?

चौथा ग्रुप आर्ट्स का है, जिसमें बीए (बैचलर ऑफ आर्ट्स) की डिग्री मिलती है. इसमें अलग-अलग सब्जेक्ट से डिग्री ले सकते हैं, जिसमें इतिहास, भूगोल, सोशियोलॉजी, फिलोसॉफी, इकोनॉमिक्स, साइकोलॉजी, आर्कियोलॉजी, पत्रकारिता और पॉलिटिकल साइंस आदि शामिल हैं. आर्ट्स से ग्रेजुएशन या पीजी करने वाले संबंधित क्षेत्र में करियर बना सकते हैं.

ये भी पढ़ें: एथिकल हैकर कैसे बन सकते हैं, भारत में कहां से मिलती है डिग्री, कितनी होती है सैलरी?

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