प्रदूषित पानी पीने से कैंसर का खतरा – Pradushit pani peene se cancer ka…

जमीन के अंदर से मिलने वाला पानी धीरे-धीरे प्रदूषित होता जा रहा है। बहुत सारे कारण हैं जिनकी वजह से अब ग्राउंड वाटर भी हमारे पीने योग्य नहीं रहा।
हम अब भी गांवों में अपने बुजुर्गों को बदले जमाने पर अफसोस व्यक्त करते हुए एक वाक्य सुन ही लेते हैं कि “किसको पता था कि एक दिन पानी छान (फ़िल्टर) कर पीना पड़ेगा।” उनकी बात अपनी जगह सही है लेकिन वक्त की शायद यही जरूरत है। बहुत सारे कारण हैं जिनकी वजह से अब ग्राउंड वाटर भी हमारे पीने योग्य नहीं रहा। लेकिन क्या आप जानते हैं कि इससे कैंसर तक हो जाने का खतरा है? अगर हाँ तो कैसे और हम क्या उपाय आजमा कर ऐसे खतरों से बच सकते हैं। समझेंगे एक्सपर्ट की मदद से।
क्या टैप के पानी से कैंसर का खतरा है?(Is there a Risk of Cancer from Tap Water?)
जर्नल ऑफ एक्सपोजर साइंस एण्ड इन्वायरमेन्टल एपिडेमोलोजी की एक रिपोर्ट कहती है कि हमारे घरों में टैप से गिरने वाले पानी में ऐसे परमानेंट एलीमेंट्स पाए जाते हैं जो कैंसर के लिए एक बड़े कारक हैं। रिपोर्ट एक स्टडी के आधार पर है और उसके नतीजों के मुताबिक, ऐसे लोग जो टैप वाटर को पीने में या खाना बनाने में इस्तेमाल करते हैं, उनमें कैंसर का खतरा 33 प्रतिशत तक बढ़ जाता है। रिपोर्ट में आगे ये भी कहा गया है कि दुनिया भर की लगभग 45 प्रतिशत आबादी इसकी जद में है। तो कैंसर के ये खतरा वाकई बड़ा भी है और गंभीर भी, वो भी किससे, हमारे पीने के पानी से जिसके बगैर हमारा काम एक दिन भी नहीं चल सकता।

टेप के पानी में कैंसर पैदा करने वाले एलिमेंट्स (Cancer Causing Elements in Tap Water)
1.आर्सेनिक (Arsenic)
आर्सेनिक एक खतरनाक केमिकल एलीमेंट है जो प्राकृतिक रूप से जमीन के अंदर पाया जाता है। अगर टैप के पानी में आर्सेनिक की मात्रा ज्यादा हो तो ये कैंसर जैसी बीमारियों का कारण बन सकता है। वैसे तो आर्सेनिक कुदरती जल सोर्स में ही पाया जाता है लेकिन ये स्टोर किये गए पानी में भी जन्म ले सकता है, खासकर तब जब पानी की सफाई का इंतेजाम न हो।
3.क्लोरीन (Chlorine)
एंड्रोमेडा कैंसर हॉस्पिटल, सोनीपत में सीनियर कंसलटेंट और मेडिकल ऑन्कोलॉजिस्ट डॉक्टर रमन नारंग के अनुसार, क्लोरीन का इस्तेमाल पानी को साफ करने के लिए किया जाता है। लेकिन पानी में ज्यादा क्लोरीन के होने से कुछ नुकसान देने वाले केमिकल एलीमेंट्स बन सकते हैं, जिन्हें डिसिन्फेक्टन बायप्रोडक्ट्स (DBPs) कहा जाता है। इनमें से कुछ केमिकल्स जैसे डायक्लोरोसाइनोफिन (Dichloramine) और ट्राइक्लोरोथाइआजीन (Trihalomethanes) कैंसर को जन्म दे सकते हैं।


3.लेड (Lead)
लेड एक मेटल है जो पुराने पाइपलाइन और हमारे घर के नलों में हो सकती है। लिड अगर पानी में ज्यादा मात्रा में तो ये हमारे शरीर में जमा होने लगता है। इसकी वजह से पहले ट्यूमर और बाद में कैंसर तक के भी खतरे देखे जाते हैं।
क्याें पानी बढ़ा रहा है कैंसर का खतरा (Why is Water Increasing the Risk of Cancer?)
1.लॉंगटाइम एक्सपोजर (Longtime Exposure)
डॉक्टर रमन नारंग कहते हैं कि इन खतरों के बावजूद ये कहना भी सही है कि टैप के पानी से कैंसर का खतरा तब ही ज्यादा होगा जब हम इसे ज्यादा इस्तेमाल में लाएं। ज्यादा से मेरा मतलब लंबे समय तक। अगर पानी में आर्सेनिक, फ्लोराइड, या लिड जैसी चीजें हैं और हम उन्हें लगातार पीते हैं तो ये धीरे-धीरे शरीर में जमा होने लगते हैं और इस वजह से शरीर में कैंसर जन्म लेता है।
2. केमिकल रिएक्शन (Chemical Reaction)
ये आप जानते होंगे कि पानी को साफ करने के लिए भी कुछ केमिकल्स का इस्तेमाल किया जाता है। कई बार तो ये तरीका सही होता है लेकिन जब बिना जाने कि पानी के अंदर कौन से नुकसानदायक एलीमेंट्स हैं, किसी केमिकल के जरिए उसे साफ करने की कोशिश की जाती है तो केमिकल रीएक्शन होने के चांस होते हैं। ये केमिकल रिएक्शन शरीर में असर छोड़ते है और कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों तक भी पहुंचा सकते हैं।

बचाव के उपाय (Preventive Measures)
1.पानी का टेस्ट करवाएं (Get the Water Tested)
डॉक्टर रमन नारंग के अनुसार, सबसे पहला कदम है, पानी की क्वालिटी टेस्ट करना। आप लोकल अथॉरिटी से बोल कर अपने घर आ रहे पानी की क्वालिटी के बारे में पूछ सकते हैं। पानी का टेस्ट करने की भी रिक्वेस्ट डाल सकते हैं ताकि आपको पता लगे कि आपके पानी में कौन से एलीमेंट्स ऐसे हैं जो नुकसान दे रहे हैं। कई बार अगर ये काम लोग प्राइवेटली भी कराते हैं।
2.फिल्टर का इस्तेमाल करें (Use Filters)
यदि आपके पानी में आर्सेनिक, लिड, फ्लोराइड या अन्य हानिकारक एलीमेंट्स हैं तो एक अच्छा पानी फिल्टर लगवाना बेहद जरूरी है। आजकल बाजार में कई प्रकार के वाटर फिल्टर्स उपलब्ध हैं जो इन खतरनाक तत्वों को पानी से निकाल सकते हैं। ऐसे फिल्टर्स का चुनाव करें जो इन तत्वों को आसानी से और पूरे तरीके से हटाने में सक्षम हों।
3.पानी उबाल कर पियें (Boil Water and Drink)
अगर आपके इलाके के पानी में आर्सेनिक या लिड की समस्या है तो पानी उबालने से वह कुछ हद तक सुरक्षित हो सकता है क्योंकि पानी को उबालने से बैक्टीरिया और वायरस खत्म हो जाते हैं। हालांकि, ये सही है कि उबालने से पूरी तरह पानी के एलीमेंट्स हट जाएं इसकी गारंटी नहीं है लेकिन यह जरूर है कि उबालने से पानी कुछ हद तक साफ जरूर हो सकता है।
4.नई पाइप का इस्तेमाल (Use of New Pipe)
यदि आपके घर में पुराने पाइप हैं तो उसे बदल देना चाहिए। पाइप जितना पुराना होगा, उसमें लिड जैसे खतरनाक एलीमेंट्स के होने का खतरा उतना ही होगा। इसके अलावा अपको इस बात का भी ध्यान रखना होगा कि आपके घर पानी जिस सोर्स से आ रहा हो, उसकी पाइपलाइन भी बहुत पुरानी न हो। अगर ऐसा है तो पानी गरम कर के या फ़िल्टर कर के ही पियें।
5.पानी के सोर्स का ध्यान रखें (Take Care of Water Sources)
आपके लिए यह जानना जरूरी है कि आप जो पानी पी रहे हैं या खाना बनाने में इस्तेमाल कर रहे हैं, वो कहाँ से आ रहा है। अगर वो किसी सुरक्षित सोर्स से नहीं आ रहा जो साफ है तो फिल्टर्ड मिनरल वाटर का इस्तेमाल करिए।
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