क्या सीरिया में लौट रही शांति? असद के शासन के पतन के बाद 8 लाख से अधिक सीरियाई वतन… – भारत संपर्क


सीरिया में बशर-अल-असद सरकार के पतन के बाद बदलने लगे हालात (file/pti)
क्या सीरिया में हालात बदल रहे हैं? लंबे समय तक सीरिया में तानाशाह रहे बशर-अल-असद के शासन के पतन के बाद यह कयास लगाए जा रहे हैं. इस बीच संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी (UN refugee agency) के एक शीर्ष अधिकारी ने आज सोमवार को बताया कि दिसंबर में बशर अल-असद की सरकार के खात्मे के बाद से, करीब 8.50 लाख से अधिक सीरियाई शरणार्थी पड़ोसी देशों से अपने वतन लौट आए हैं और आने वाले हफ्तों में यह संख्या एक मिलियन यानी 10 लाख को भी पार कर सकती है.
UNHCR के डिप्टी हाई कमिश्नर केली टी. क्लेमेंट्स ने राजधानी दमिश्क में समाचार एजेंसी एसोसिएटेड प्रेस को बताया कि 14 साल से चले आ रहे लंबे संघर्ष के दौरान आंतरिक रूप से विस्थापित हुए करीब 17 लाख लोग अपने-अपने समुदायों में लौट आए हैं क्योंकि अब देश में अंतरिम केंद्रीय सरकार ने सीरिया के बड़े हिस्से पर कंट्रोल बना लिया है.
युद्ध के दौरान देश छोड़ गए 50 लाख सीरियाई
क्लेमेंट्स जो पिछले 3 दिनों से सीरिया में हैं, ने कहा, “यह बेहद ही गतिशील दौर है. यह एक ऐसा अवसर है जिसे हम पिछले 14 सालों में देखे गए सबसे बड़े वैश्विक विस्थापन को अब संभावित समाधान के रूप में देख सकते हैं.”
सीरिया में पिछले डेढ़ दशक में जमकर गृह युद्ध चला. मार्च 2011 में शुरू हुए सीरियाई संघर्ष में करीब 5 लाख लोग मारे गए और लगातार जारी संघर्ष की वजह से देश की युद्ध-पूर्व 2.3 करोड़ में से आधी आबादी घर छोड़ने को मजबूर हो गई. 50 लाख से ज्यादा सीरियाई शरणार्थी बनकर देश छोड़कर भाग गए थे, जिनमें से ज्यादातर पड़ोसी देशों में भागने को मजबूर हो गए थे.
लेबनान की वापसी की खत्म हो चुकी है मियाद
क्लेमेंट्स ने कहा कि अब हर किसी के वापस आने की अलग-अलग वजहें है, जबकि कुछ लोग देरी कर रहे हैं और यह देखने के लिए इंतजार कर रहे हैं कि आगे क्या होता है. अपनी यात्रा के दौरान, वह लेबनान के बॉर्डर पर स्थित एक चौराहे पर गईं, जहां उन्होंने ट्रकों और सीरिया वापस जाने के लिए इंतजार कर रहे लोगों की लंबी-लंबी कतारें देखीं.
लेबनान के अधिकारियों ने देश में अवैध रूप से रह रहे सीरियाई लोगों को अगस्त के अंत तक देश छोड़ने पर छूट दी थी. लेबनान में प्रति व्यक्ति शरणार्थियों की संख्या दुनिया में सबसे ज्यादा है, और पिछले कुछ दिनों में, हजारों की संख्या में सीरियाई लोग बॉर्डर पार करके वापस लौट आए हैं. क्लेमेंट्स ने कहा, “वापसी असाधारण रूप से ज्यादा देखी गई़.”
दिसंबर में संघर्ष में असद सरकार का हुआ था पतन
दिसंबर की शुरुआत में विद्रोही गुटों की ओर से किए गए एक हमले में असद सरकार के पतन के बाद बड़ी संख्या में सीरियाई लोगों को बड़ी उम्मीदें थीं. हालांकि, मार्च में सीरिया के तटीय क्षेत्र में असद के अलावी अल्पसंख्यक (Alawite minority) संप्रदाय के लोगों और जुलाई में दक्षिणी प्रांत स्वेदा में ड्रूज़ अल्पसंख्यकों (Druze minority) के खिलाफ हुई सांप्रदायिक हत्याओं में सैकड़ों लोगों की जान चली गई.
क्लेमेंट्स ने बताया कि जुलाई में सरकार समर्थक बंदूकधारियों और ड्रूज़ लड़ाकों के बीच हुई भीषण जंग के परिणामस्वरूप दक्षिणी सीरिया में करीब 2 लाख (1,90,000) लोग विस्थापित हुए. उन्होंने बताया कि तब से, राहत सामग्री के 21 काफिले, जिनमें UNHCR एक अहम हिस्सा रहा, स्वेदा भेजे गए हैं. उन्होंने कहा कि दमिश्क-स्वेदा हाईवे, जिसे सरकार समर्थक बंदूकधारियों ने हफ्तों तक ब्लॉक कर रखा था, अब खुल गया है, “जो बहुत अहम है क्योंकि इससे क्षेत्र में और अधिक राहत सामग्री पहुंच सकेंगी.”