देश के महान क्रांतिकारी भगत सिंह की जयंती पर नहीं हुआ कोई…- भारत संपर्क

ज़िला कांग्रेस कमेटी ( शहर/ग्रामीण ) द्वारा आज कांग्रेस भवन में क्रांतिकारी , भगत सिंह की जयंती मनाई गई,और उनकी छायाचित्र पर माल्यार्पण कर उनके योगदान को याद किया गया ,
इस अवसर पर संयोजक ज़फ़र अली, हरीश तिवारी ने कहा कि बलिदानी भगत सिंह की बाल सुलभ मन मे जलियांवाला बाग की बर्बरता ने गहरी छाप छोड़ी,फिर गांधी जी के विचारों से प्रभावित भगत सिंह ने अहिंसा और शांति की मार्ग को छोड़कर क्रांति मार्ग पर चल पड़े ,उस समय राम प्रसाद बिस्मिल,चन्द्र शेखर आज़ाद जैसे क्रांति कारी अपने मिशन में कामयाब हो रहे थे,भगत सिंह ने ” नौजवान सभा ” के माध्यम से अपने विचारों को प्रसारित-प्रचारित कर रहे थे ,लेनिन से प्रभावित समाजवाद के पक्षधर थे, गरमदल नेता लाला लाजपत राय की पुलिस पिटाई से मौत ने उनके में धधकती ज्वाला को प्रस्फुटित कर दी और बदले की आग में उन्होंने पुलिस सुपरिटेंडेंट स्कॉट की हत्या की योजना बनाई और सॉन्डर्स मारा गया ,इसी तरह गूंगी -बहरी सरकार को जगाने के लिए सेंट्रल असेम्बली में उस जगह बम फेंका गया जहां क्षति न हो और पर्चा फेंक कर अपने विचारों को अंग्रेजो तक पहुंचाया और भगत सिंह वही खड़े रहे ,गिरफ्तारी हुई , केस चला उनकी रिहाई के लिए तत्कालीन कांग्रेस अध्यक्ष मदन मोहन मालवीय जी ने वायरॉयस से अपील की। लेकिन महात्मा गांधी ने वायरॉयस से मिलकर माफी मांगने की बात स्वीकार नही किया और उन्हें समय पूर्व फांसी पर चढ़ा दी गई ,इस तरह भगत सिंह 24 वर्ष की आयु में देश के लिए मर मिटे और सुनहरे अक्षरों में अपना नाम अमिट कर गए।
कार्यक्रम में संयोजक ज़फर अली,हरीश तिवारी, त्रिभुवन कश्यप,माधव ओत्तालवार,विनोद शर्मा,अनिल सिंह चौहान, विश्वम्भर गुलहरे,राजेश शर्मा,सुभाष ठाकुर,सत्येंद्र तिवारी,काली चरण यादव,कमलेश लव्हतरे, रणजीत खनूजा,मनोज शर्मा ,हेमन्त दिघरस्कर,राजेश ताम्रकार, अफ़रोज़ बेगम,दीपक रायचेलवार,गौरव ऐरी,सुदेश नन्दिनी,रेखेन्द्र तिवारी,मनोज सिंह,आदि उपस्थित थे।