बिहार में नहीं होगी BPSC की पुर्नपरीक्षा, पटना हाईकोर्ट ने किया परीक्षा रद्द…
बीपीएससी की 70 वीं प्रारंभिक परीक्षा को दोबारा कराए जाने की मांग कर रहे अभ्यर्थियों को करारा झटका लगा है. पटना हाईकोर्ट ने परीक्षा रद्द करने या रिजल्ट पर रोक लगाने से इंकार कर दिया है. कोर्ट ने बिहार सरकार और बीपीएससी से इस मामले में 30 जनवरी तक विस्तार से जवाब मांगा है. मामले की अगली सुनवाई 31 जनवरी को होगी.
बीपीएससी परीक्षा का प्रश्न पत्र लीक होने का आरोप लगाते हुए अभ्यर्थी दोबारा परीक्षा कराए जाने की मांग कर रहे हैं. पिछले कई दिनों से पटना में इसे लेकर प्रदर्शन चल रहा था. इसमें जनसुराज पार्टी के नेता प्रशांत किशोर भी शामिल हुए थे. इसी मामले को लेकर पटना हाईकोर्ट में गुरुवार को सुनवाई हुई. तकरीबन एक घंटे चली बहस के बाद पटना हाईकोर्ट के जस्टिस अरविंद सिंह चंदेल की बेंच ने परीक्षा रद्द करने या रिजल्ट पर रोक लगाने से इंकार कर दिया.
जस्टिस चंदेल ने फैसले में कही ये बात
जस्टिस अरविंद सिंह चंदेल की बेंच ने बीपीएससी री एग्जाम की मांग के मामले में तकरीबन एक घंटे तक सुनवाई की. इस दौरान सरकारी वकील पीके शाही और जनसुराज के वकील वाईबी गिरि ने अपना-अपना पक्ष रखा. मामले की सुनवाई के बाद जस्टिस अरविंद सिंह चंदेल ने फैसले में कहा कि जिस पेपर लीक का दावा किया जा रहा है वो तथ्यों को देखने के बाद बिल्कुल आधारहीन समझ आता है.
कोर्ट ने 30 जनवरी तक मांगा जवाब
पटना हाईकोर्ट के जस्टिस अरविंद चंदेल की बेंच ने मामले में बिहार सरकार और बीपीएससी से 30 जनवरी तक जवाब मांगा है. खास बात ये है कि कोर्ट ने सरकार और आयोग से उन्हीं बिंदुओं के आधार पर जवाब मांगा है जो आरोप याचिकाकर्ताओं की ओर से लगाए हैं. वकील अशेाक कुमार ने बताया कि कोर्ट ने रिजल्ट को नहीं रोका है, हालांकि आयोग का पक्ष पहले चुना जाएगा. अगर पक्ष सही हुआ तो रिजल्ट लागू कर दिया जाएगा.
4 लाख अभ्यर्थी हुए थे शामिल
बीपीएससी की परीक्षा में तकरीबन 4 लाख अभ्यर्थी शामिल हुए थे. हालांकि पेपर लीक का आरोप लगाकर अभ्यर्थियों ने हंगामा किया था. कई अभ्यर्थी इसे लेकर अनशन पर भी बैठ गए थे. जनसुराज पार्टी के नेता प्रशांत किशोर ने इसका समर्थन किया था. प्रशांत किशोर की पार्टी की ओर से ही पटना हाईकोर्ट में इसे लेकर याचिका दायर की गई थी. इसके अलावा खान सर ओर पूर्णिया सांसद पप्पू यादव ने भी याचिका दायर की थीं.