ये सरकारी कंपनी बनाएगी फॉर्मूला वन के लिए फ्यूल, 3 महीने में…- भारत संपर्क


आईओसीएल अगले तीन महीने में फार्मूला 1 में यूज होने वाले फ्यूल का प्रोडक्शन शुरू करने जा रहा है.
सरकारी पेट्रोलियम कंपनी इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन लि. (आईओसी) ने फ्यूल ग्रेड में एक-के-बाद-एक इनोवेशन किए हैं. अब पब्लिक सेक्टर की कंपनी की निगाहें फार्मूला वन पर है और अगले तीन महीने में यह एड्रेनलाइन पंपिंग फॉर्मूला-वन (एफ 1) मोटर रेसिंग में यूज होने वाले फ्यूल का उत्पादन शुरू कर देगी. कंपनी स्पेसिफिक फ्यूल के क्षेत्र में विस्तार की रणनीति के तहत इस दिशा में कदम उठा रही है.
दुनिया की कुछ कंपनियों में होगी शामिल
आईओसी के चेयरमैन माधव वैद्य ने कहा कि कंपनी की पारादीप रिफाइनरी में तीन महीने में फॉर्मूला-वन कार रेसिंग में इस्तेमाल होने वाले पेट्रोल का प्रोडक्शन शुरू हो जाएगा. देश की सबसे बड़ी पेट्रोलियम कंपनी आईओसी की भारत के फ्यूल मार्केट में 40 फीसदी हिस्सेदारी है. यह फॉर्मूला-वन फ्यूल का उत्पादन करने वाली देश की पहली और ग्लोबल लेवल पर कुछ चुनिंदा कंपनियों में शामिल जाएगी.
किन गाड़ियों में होगा यूज
वैद्य ने कहा कि कंपनी को उम्मीद है कि उसके फॉर्मूला-वन फ्यूल को तीन माह में सर्टिफिकेशन मिल जाएगा. इसके बाद वह इस फ्यूल की सप्लाई एफ-1 टीम को करने के लिए शेल जैसी ग्लोबल कंपनियों से प्रतिस्पर्धा करेगी. आईओसी के पास पहले से ही तीन ब्रांडेड फ्यूल हैं. इसमें अधिक बिकने वाला एक्स्ट्राग्रीन डीजल भी शामिल है. फॉर्मूला वन फ्यूल ऐसा होता है, जो काफी उल्लेखनीय प्रदर्शन देता है. वैद्य ने कहा कि कंपनी स्टॉर्म पेट्रोल पेश करने के साथ रेसिंग सेंगमेंट में उतर गई है. स्टॉर्म का इस्तेमाल मोटरसाइकिल रेसिंग सेक्टर में होता है.
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आईओसीएल के शेयर
अगले हफ्ते आईओसीएल के शेयरों में तेजी देखने को मिल सकती है. मौजूदा समय में आईओसीएल के शेयर 174.50 रुपए पर है. गुरुवार को कंपनी का शेयर डेढ़ फीसदी की गिरावट के साथ बंद हुए थे. मौजूदा समय में आईओसीएल का मार्केट कैप 2,46,415.61 करोड़ रुपए हो चुका है. वैसे आईओसीएल के शेयर ने बीते एक साल में 140 फीसदी का रिटर्न दिया है. बीती तीन तिमाहियों में कंपनी का प्रॉफिट भी काफी लाजवाब रहा है. चौथी तिमाही में कंपनी का प्रोफिट में 8 से 10 हजार करोड़ के बीच में रह सकता है.